Cyber Crime
Cyber Crime क्या है?
Cyber Crime को हिंदी में साइबर अपराध कहा
जाता है। यह वह अपराध है जो कंप्यूटर, मोबाइल, इंटरनेट या किसी भी डिजिटल प्लेटफ़ॉर्म
का उपयोग करके किया जाता है।
इन अपराधों का मकसद होता है:
- लोगों से पैसे ठगना
- उनकी निजी जानकारी चुराना
- ऑनलाइन धमकाना या परेशान करना
- सोशल मीडिया अकाउंट हैक करना
- बैंक और UPI से फ्रॉड करना
आज के समय में Cyber
Crime सबसे तेजी से बढ़ने वाले अपराधों में से एक है, क्योंकि लगभग हर काम — बैंकिंग, खरीदारी, सोशल मीडिया, OTP, UPI — सब कुछ इंटरनेट पर
होने लगा है।
Type of Cyber Crime
यहाँ साइबर क्राइम (Cyber Crime) के मुख्य प्रकार दिए गए हैं:
- Phishing
(फिशिंग): इसमें
धोखेबाज आपको नकली ईमेल या मैसेज भेजते हैं जो बैंक या किसी विश्वसनीय संस्था
से आए हुए लगते हैं, ताकि आप अपने पासवर्ड या क्रेडिट
कार्ड की जानकारी दे दें।
- Hacking
(हैकिंग): किसी
के कंप्यूटर, सोशल मीडिया अकाउंट या वेबसाइट में बिना
अनुमति के घुसपैठ करना और जानकारी चुराना या उसे नुकसान पहुँचाना।
- Identity
Theft (आइडेंटिटी थेफ्ट): किसी दूसरे व्यक्ति की निजी जानकारी (जैसे आधार कार्ड, पैन कार्ड, फोटो) चुराकर उसका गलत इस्तेमाल
करना या उसके नाम पर लोन लेना।
- Ransomware
(रैंसमवेयर): यह एक
तरह का वायरस है जो आपके कंप्यूटर या मोबाइल की फाइलों को लॉक (lock) कर देता है और उन्हें वापस पाने के लिए आपसे पैसों (फिरौती) की मांग
की जाती है।
- Cyberstalking
(साइबर स्टॉकिंग): इंटरनेट या सोशल मीडिया के जरिए किसी व्यक्ति का पीछा करना, उसे बार-बार मैसेज करके परेशान करना या डराना।
- Online
Financial Fraud (ऑनलाइन वित्तीय धोखाधड़ी): इसमें UPI फ्रॉड, लॉटरी
स्कैम, या नकली शॉपिंग वेबसाइट बनाकर लोगों के पैसे
ठगना शामिल है।
- Cyberbullying
(साइबर बुलिंग): इंटरनेट पर किसी को अपमानित करना, भद्दे
कमेंट्स करना या धमकियां देना (यह अक्सर सोशल मीडिया पर होता है)।
- Malware
Attack (मालवेयर अटैक): वायरस, स्पाईवेयर (Spyware) या ट्रोजन (Trojan) जैसे हानिकारक सॉफ्टवेयर के
जरिए डिवाइस को खराब करना या जासूसी करना।
- Sim
Swap Fraud (सिम स्वैप फ्रॉड): धोखेबाज आपके मोबाइल नंबर की डुप्लीकेट सिम निकलवा लेते हैं और आपके OTP
का इस्तेमाल करके बैंक अकाउंट खाली कर देते हैं।
Cyber Crime कैसे किया
जाता है?
साइबर अपराधी (Cyber
Criminals) तकनीक और इंसानी गलतियों का फायदा उठाकर अपराध करते हैं।
यहाँ मुख्य तरीके दिए गए हैं कि यह कैसे किया जाता है:
- Social
Engineering (दिमाग से खेलना): अपराधी डर या लालच का इस्तेमाल करते हैं। जैसे- "आपका अकाउंट
ब्लॉक हो जाएगा" या "आप लॉटरी जीत गए हैं", ताकि आप घबराहट या खुशी में अपनी जानकारी दे दें।
- Malicious
Links (फिशिंग लिंक भेजना): ईमेल, SMS या WhatsApp पर
ऐसे लिंक भेजे जाते हैं जो बैंक या सरकारी वेबसाइट जैसे दिखते हैं। जैसे ही
आप क्लिक करते हैं, आपकी जानकारी चोरी हो जाती है।
- Fake
Apps और Software (नकली ऐप्स): लोग अक्सर फ्री गेम्स, मूवी या 'क्रैक सॉफ्टवेयर' डाउनलोड करते हैं। अपराधी
इनके साथ वायरस (Malware) छिपा देते हैं जो बैकग्राउंड
में डेटा चुराता रहता है।
- Remote
Access Apps (स्क्रीन शेयरिंग): स्कैमर्स आपको कॉल करके बहाने से AnyDesk, TeamViewer या QuickSupport जैसे ऐप्स डाउनलोड
करवाते हैं। इससे उन्हें आपके फोन/लैपटॉप का पूरा कंट्रोल मिल जाता है और वे
आपके सामने ही पैसे ट्रांसफर कर लेते हैं।
- Weak
Passwords (कमजोर पासवर्ड): अपराधी सॉफ्टवेयर का उपयोग करके आसान पासवर्ड (जैसे 123456, आपका नाम, या जन्मतिथि) का अनुमान लगाते हैं
(इसे Brute Force Attack कहते हैं)।
- Public
Wi-Fi (फ्री इंटरनेट का खतरा): रेलवे स्टेशन या कैफे में 'फ्री वाई-फाई'
का इस्तेमाल करते समय अपराधी उस नेटवर्क पर भेजे जा रहे डेटा
को बीच में ही इंटरसेप्ट (कैच) कर लेते हैं।
- Fake
Customer Care Numbers: अपराधी गूगल मैप्स
या सर्च इंजन पर बैंकों और कंपनियों के नाम से अपने फर्जी नंबर डाल देते हैं।
जब आप मदद के लिए कॉल करते हैं, तो वे स्कैमर से बात कर
रहे होते हैं।
- QR
Code Scam: "पैसे प्राप्त करने
के लिए स्कैन करें" बोलकर QR कोड भेजा जाता है।
याद रखें, QR कोड स्कैन करने से पैसे हमेशा कटते हैं, कभी
आते नहीं हैं।
ध्यान रखें:
कोई भी असली बैंक,
UPI ऐप, या सरकारी विभाग कभी OTP,
PIN, Password नहीं पूछता।
Cyber Crime से
कैसे बचें? (जरूरी सावधानियाँ)
✔ अनजान लिंक पर क्लिक न करें
✔ किसी को OTP, PIN, UPI PIN न बताएं
✔ Unknown नंबर की UPI request reject करें
✔ Screen
sharing app कभी किसी को न चलने दें
✔ Social
media में 2step verification ज़रूर
ऑन करें
✔ मोबाइल में सिर्फ trusted apps ही install करें
✔ Password मजबूत रखें और समयसमय पर बदलें
अगर Cyber Fraud हो जाए तो क्या करें?
अगर आपके
या किसी के साथ साइबर फ्रॉड हो गया है, तो घबराएं नहीं, बल्कि तुरंत (बिना समय गंवाए) नीचे दिए
गए कदम उठाएं। शुरुआती 1-2 घंटे
(Golden Hour) बहुत महत्वपूर्ण होते हैं।
यहाँ स्टेप-बाय-स्टेप प्रक्रिया है:
1. तुरंत 1930 डायल करें (National Cyber Crime Helpline)
- भारत
सरकार का यह हेल्पलाइन नंबर (1930) विशेष
रूप से वित्तीय धोखाधड़ी के लिए है।
- जितनी
जल्दी आप कॉल करेंगे, उतनी अधिक संभावना है कि
पुलिस उस पैसे को धोखेबाज के बैंक खाते में ही Freeze (जमा) कर दे, ताकि
वह पैसे निकाल न सके।
2. अपने बैंक से संपर्क करें
- तुरंत
अपने बैंक के कस्टमर केयर को कॉल करें और उन्हें फ्रॉड की जानकारी दें।
- Cards
Block करें: अपने
डेबिट और क्रेडिट कार्ड तुरंत ब्लॉक करवाएं।
- Account
Freeze: बैंक से कहकर अपने खाते
से ऑनलाइन ट्रांजेक्शन (Net Banking/UPI) अस्थायी रूप
से बंद करवा दें।
3. ऑनलाइन शिकायत दर्ज करें (Official
Portal)
- सरकार
की वेबसाइट राष्ट्रीय साइबर अपराध पोर्टल पर जाएं ।
वहां 'Report Cyber Crime' पर क्लिक करें और अपनी शिकायत दर्ज करें। आपको एक एकनॉलेजमेंट नंबर मिलेगा, उसे संभाल कर रखें ।
4. सबूत (Evidence) इकट्ठा करें
पुलिस या बैंक में शिकायत करते समय आपको इन चीजों
की जरूरत पड़ेगी, इसलिए इन्हें डिलीट न करें:
- ट्रांजेक्शन
ID
और अमाउंट का स्क्रीनशॉट ।
- फ्रॉड
वाले मैसेज, ईमेल या चैट के स्क्रीनशॉट ।
- धोखेबाज
का फोन नंबर या जिस खाते/UPI पर पैसे गए हैं उसकी
जानकारी ।
- पिछले
6
महीने का बैंक स्टेटमेंट ।
5. नजदीकी पुलिस स्टेशन या साइबर
सेल जाएं
- अगर
राशि बड़ी है, तो ऑनलाइन शिकायत के अलावा
अपने शहर के नजदीकी साइबर पुलिस स्टेशन में जाकर लिखित FIR दर्ज करवाएं।
6. अपना डिवाइस चेक करें
- अगर
फ्रॉड किसी लिंक पर क्लिक करने या ऐप डाउनलोड करने से हुआ है, तो अपने फोन को इंटरनेट से हटा दें (Flight Mode)।
- हो
सके तो फोन को Factory Reset कर दें ताकि अगर कोई जासूसी ऐप (Malware) हो,
तो वह हट जाए।
महत्वपूर्ण चेतावनी: सोशल मीडिया (Telegram/Instagram) पर ऐसे लोगों पर
भरोसा न करें जो दावा करते हैं कि वे "हैक करके आपका पैसा वापस ला
देंगे।" वे भी स्कैमर्स (Recovery Scammers) होते हैं।
निष्कर्ष (Conclusion)
Cyber Crime आज हर किसी के लिए एक
बड़ा खतरा है।
लेकिन थोड़ी सी जागरूकता और सावधानी रखकर हम
ज्यादातर साइबर धोखाधड़ी से बच सकते हैं।
याद रखें:
👉 “Awareness ही सुरक्षा है।”
👉 धोखा होते ही 1930 पर कॉल करें।
Stay safe. Stay aware.
— KML WORLD Police Awareness Team
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